Tremor Terror
कुछ देर पहले मार्किट में एक सहेली अपनी छोटी बेटी के साथ मिली. वो जल्दी जल्दी बहुत सारी शापिंग कर रही थी. बातो बातों मे उसने मुझे बताया कि ये बिल्डिंग तीसरी मंजिल पर है अगर भूकम्प आ गया तो … इस लिए बस जल्दी जल्दी खरीद कर बाहर निकलना चाह्ती हूं . वही बेटी भी मुझे कहने लगी आंटी अब हम सब भी मर जाएगें.मैने अपनी खरीददारी बीच मे ही छोडी और उनके साथ बाहर आ गई.
सबसे पहले बेटी को समझाया कि कुछ नही होगा. Tremor Terror को न बनाए और न ही दिल से लगाएं. उसको साथ वाली दुकान से आईसक्रीम लाने भेजा और फिर सहेली को डांटा कि क्या कर रही हो… मासूम के दिल मे क्यों Tremor Terror का डर बैठा रखा है. स्कूल भी नही भेज रही खुद भी आफिस नही जा रही आखिर कब तक. ऐसे में ध्यान बटाने की बजाय तुम डर पैदा कर रही हो.रही बात भविष्यवाणी की किसी को नही पता कि भूकम्प आज अभी आएगा या 50 साल बाद .. ऐसे मे डर डर के कब तक जीओगी उसने बताया कि सारा दिन चैनल पर भी तस्वीरे… मैने कहा कि फिर बदल दो चैनल, फिल्म देखो, सीरियल देखो, बाहर घूमों , फोन करो दस काम है कि नही कि बस सारा समय खबरे ही देखनी हैं. मेरा शायद बोलने का लहजा ज्यादा तल्ख हो गया था.
उसकी Tremor Terror वाली बात सुनकर असल में, मुझे गुस्सा आया गया कि अपने साथ साथ बच्चे के दिल मे भी डर बैठा दिया है उसने… फिर मैं उन्हें अपने घर ले आई. बहुत सारी बातें की और बेटी से poems भी सुनी और उसने कागज पर पेड और फूल भी बना कर दिखाया फिर मैनें भी उसको अपने कार्टून दिखाए. जाते जाते उसके चेहरे पर स्माईल और सहेली के होठों पर थैक्स था… ऐसी बात नही है कि मुझे डर नही नही है पर मैने खुद को समझा दिया है और फिर ही औरों को समझा रही हूं कि डर के बैठने से कुछ नही होगा … इससे बचाव के तरीके पढो, समझो और दूसरो तक पहुंचाओ … होगा वही जो ईश्वर को मंजूर होगा…. !!!
उम्मीद है ये लेख पढने के बाद आपका भी Tremor Terror से ध्यान हटा होगा … अगर नही हटा तो दुबारा लेख को पढिए 🙂